ऊना, 24 दिसंबर: उन्नत माइक्रोसर्जिकल तकनीकों का इस्तेमाल कर डॉक्टरों ने ऊना के किसान के कटे हुए बाएं हाथ को सफलतापूर्वक रीइम्प्लांट करने में सफलता पाई ।
लकड़ी काटने की मशीन पर काम करते समय किसान का बायां हाथ एक्सिडेंटली कट गया था । कटे हुए हाथ के साथ उन्हें समय पर आईवीवाई अस्पताल होशियारपुर ले जाया गया यहाँ प्लास्टिक और रीकन्स्ट्रक्टिव सर्जन डॉ. सुमित तूर और एनेस्थेटिक डॉ. मनप्रीत कौर व डॉ. हरप्रीत सिंह की टीम ने हाथ के रीइम्प्लांट के लिए उन्नत माइक्रोसर्जिकल तकनीकों का इस्तेमाल किया।
डॉ. तूर ने ब्लड वेसल्स, नर्व, टेंडन, हड्डियों और टिश्यू को फिर से रीकनेक्ट किया। डॉ. तूर ने कहा, “दर्दनाक अंग-विच्छेदन वाले मरीजों को अक्सर महत्वपूर्ण शारीरिक और भावनात्मक चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। समय पर रीइम्प्लांट अंग हानि में नई आशा ला सकता है।
उन्होंने आगे बताया कि कटे हुए हिस्से का संरक्षण और इसे समय हॉस्पिटल लाना री-इम्प्लांटेशन सर्जरी के महत्वपूर्ण पहलू हैं। उन्होंने कहा कि बुरी तरह से क्रश इंजरी री-इम्प्लांटेशन के लिए उपयुक्त नहीं हो सकती हैं, लेकिन ऑस्टियोप्लास्टिक रिकंस्ट्रक्टिव सर्जरी से हाथ को बचाया जा सकता है।