*आरोपी शिक्षक को बर्खास्त करने व हाई पावर कमेटी गठन करने की उठाई मांग।*
*छात्रा को नयाय दिलाने के लिए विद्यार्थी परिषद के प्रदर्शन मे दखल डालने का प्रयास करती रही एनएसयूआई।
केंद्रीय विश्वविद्यालय विश्वविद्यालय शाहपुर परिसर में रासायनिक विभाग में कार्यरत प्रोफेसर पर एक शोधार्थी छात्रा द्वारा शारीरिक उत्पीड़न का आरोप लगाया जाता है इस तरह की घटनाएं शैक्षणिक परिसर , विद्या के मंदिर को शर्मसार करने वाली है ।
अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद ने इसी संदर्भ में आज केंद्रीय विश्वविद्यालय हिमाचल प्रदेश के तीनों परिसरों में भक्षक बन चुके ऐसे शिक्षकों के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया विद्यार्थी परिषद के *राष्ट्रीय मंत्री राहुल राणा* ने प्रदर्शन के दौरान बताया कि केंद्रीय विश्वविद्यालय में इससे पहले भी कई यौन उत्पीड़न की घटनाएं हुई है और फिर से इस तरह की घटना का इस विश्वविद्यालय में होना पूरे विश्वविद्यालय प्रशासन पर प्रश्न चिन्ह खड़ा करती है कि आखिरकार क्यों शिक्षक और शिष्य के पवित्र रिश्ते को तार तार किया जा रहा है।
इसी घटना के विरोध में विद्यार्थी परिषद ने केंद्रीय विश्वविद्यालय धर्मशाला व शाहपुर परिसर में ताला जड़ करके उग्र प्रदर्शन किया प्रदर्शन के दौरान मांग की विश्वविद्यालय के अंदर इस प्रकार की यह चौथी घटना सामने आई है इन घटनाओं को रोकने के लिए एक हाई पावर कमेटी का गठन किया जाए जो इस तरह की घटना की पुरी रिपोर्ट रखे,
और आरोपी प्रोफेसर को बर्खास्त किया जाए, इस प्रदर्शन के दौरान धर्मशाला में विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं द्वारा कुलपति का घेराव किया गया, और शाहपुर परिसर में ताला लगा करके विरोध प्रदर्शन किया गया और डीन एकेडमिक्स का घेराव किया गया जिसके परिणाम स्वरूप विश्वविद्यालय प्रशासन ने कमेटी गठन करने का निर्णय लिया है और 15 दिन के अंदर रिपोर्ट प्रस्तुत करने का आश्वासन दिया, और आरोपी प्रोफेसर को बर्खास्त कर दिया गया है।
विद्यार्थी परिषद के *प्रदेश सह मंत्री रितिक पालसरा* ने जानकारी देते हुए बताया इस विरोध प्रदर्शन के दौरान एनएसयूआई के कार्यकर्ताओं द्वारा विद्यार्थी परिषद द्वारा किए जा रहे विरोध प्रदर्शन में खलल डालने का प्रयास किया गया एक और जहां विद्यार्थी परिषद पीड़ित छात्रा के लिए न्याय मांग रही थी वहीं दूसरी और एनएसयूआई के कार्यकर्ता कैंपस में विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं द्वारा लगाए गए ताले को खोलने के लिए विद्यार्थी परिषद के प्रदर्शन में खलल डालते रहे, इस प्रकार की घटना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है , यह दर्शाती है एनएसयूआई किस तरह की मानसिकता रखती है