हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने भौतिक निर्माण के साथ-साथ युवाओं में अच्छे संस्कार होने के महत्वपूर्ण विषय पर बल देते हुए कहा कि जीवन में भौतिक निर्माण के साथ-साथ मनुष्य में अच्छे संस्कारों का समावेश होना अत्यंत आवश्यक है। इस दिशा में हमारा पूरा समाज आगे बढ़ेगा, भारत देश उतनी ही तरक्की करेगा।
मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने सोमवार को पंचकूला मे देर सायं आयोजित ‘हमारे भारतीय संस्कारों का महत्व‘ विषय पर आयोजित संगोष्ठी में बतौर मुख्य अतिथि शिरकत की । उन्होंने कहा कि संस्कारों से दृष्टिकोण बनता है और इस प्रकार के आयोजनों से संत समाज द्वारा युवाओं में अच्छे संस्कार उत्पन्न करने का वातावरण देने का प्रयास किया जा रहा है। उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि युवाओं में अच्छे संस्कार उत्पन्न करने को लेकर हरियाणा में 1 सितंबर से नशा मुक्ति अभियान के तहत साइक्लोथॉन का आयोजन किया जा रहा है। इस साईकिल रैली के माध्यम से युवाओं को नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। उन्होंने अपने संबोधन में युवाओं में ज्ञान व शिक्षा के माध्यम से अच्छे संस्कार पैदा करने के महत्व पर बल दिया। उन्होंने कहा कि हमारे उत्तम और मजबूत संस्कारों के कारण आज पूरा विश्व भारत की ओर देख रहा है।मुख्यमंत्री ने कहा कि आध्यात्मिक कार्यक्रमों के माध्यम से युवाओं को समाज मे अच्छे संस्कार मिलते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लिए गए संकल्प के अनुसार भारत को अगले 3 वर्षों में 5 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था के क्लब में शामिल होना है। हम इस दिशा में आगे बढते हुए निरंतर तरक्की की राह पर अग्रसर होगें। उन्होंने कहा कि यह हमारे लिए गर्व का विषय है कि हरियाणा के कुरुक्षेत्र में गीता का उपदेश एकमात्र ऐसा उदाहरण है जहां भगवान श्री कृष्ण युद्ध के मैदान में संस्कार की बात बता रहे हैं। गीता का यह उपदेश आज भी उतना ही प्रासंगिक है जितना उस समय था। गीता हमे जीवन जीने की कला सिखाती है और जीवन मे हमारा मार्गदर्शन करती है। उन्होंने कहा कि गीता के सार को जन-जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है। हमने विदेश में भी करीब 12 देशों में अंतरराष्ट्रीय गीता महोत्सव के कार्यक्रम शुरू किए हैं ताकि गीता का संदेश विश्व के हर कोने तक पहुच सके। साथ ही शिक्षा में भी गीता के श्लोक अनिवार्य किए हैं।